Prabhat Times
नई दिल्ली। कृषि कानूनों (Farm Laws) के विरोध में आज किसानों ने ‘भारत बंद’ (Bharat Bandh) बुलाया है. देश के अलग-अलग राज्‍यों में इसका व्‍यापक असर दिख रहा है.
किसानों के समर्थन में राजनीतिक दल भी उतरे हैं. इस बीच, भारतीय किसान यूनियन (Bharatiya Kisan Union) के नेता राकेश टिकैत (Rakesh Tikait) ने कहा है कि 13-14 प्रतिनिधि आज शाम 7 बजे अमित शाह से मुलाकात करेंगे.
ऐसा कहा जा रहा है कि टिकैत ने गाजीपुर बॉर्डर खुलवा दिया है. साथ ही वह अन्य किसान संघों से बात करने के लिए सिंघू सीमा रवाना हो गए हैं. टिकैत ने कहा कि अब लग रहा है कि बस एक कदम दूर हैं. अब समापन होना चाहिए.
भारत बंद के बीच, दिल्‍ली-नोएडा बॉर्डर (Delhi-Noida Border) पर राष्‍ट्रीय दलित प्रेरणा स्‍थल के पास भारतीय किसान यूनियन का एक प्रतिनिधि पुलिस अधिकारियों से बातचीत का रहा था.
उसी दौरान वहां एक एंबुलेंस दिखी तो उसने बातचीत के बीच में ही प्रदर्शनकारियों से कहा कि बिना किसी बाधा के एम्‍बुलेंस को वहां से जाने दिया जाए.

हरियाणा, पंजाब से और किसान पहुंचे, बंद से प्रदर्शनकारियों की राशन आपूर्ति बाधित होने की संभावना

पंजाब और हरियाणा से ट्रैक्टर ट्रॉलियों व कारों में सवार होकर और किसान मंगलवार को यहां सिंघु बॉर्डर पर पहुंचे जहां केंद्र के नए कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शनकारी किसानों की तरफ से बुलाए गए ‘भारत बंद’ के कारण सुरक्षा के कड़े इंतजाम किये गए हैं.
भारत बंद की वजह से हालांकि लगातार 13 दिनों से सिंघु बॉर्डर पर डटे किसानों के लिये चावल, आटा, दाल, तेल, दूध, साबुन और दंतमंजन जैसी आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति भी प्रभावित हुई है.
पानीपत से आए गुरजैंत सिंह ने कहा, ‘स्वाभाविक रूप से राशन की आपूर्ति प्रभावित होगी. लेकिन अगले दो-तीन महीनों के लिये हमारे पास पर्याप्त भंडार है. हम लंबे समय तक के लिये तैयारी के साथ आए थे.’
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